Pardeshiya - Vijay Singh Aa Rachna
परदेशिया - विजय सिंह आ रचना ___________________________________________________
Side A
01 जाई छी विदेश - चंद्रमणि
02 कने बाजू ने - राम चेतन्य धीरज
03 ई जुनी पुछू - जगदीश चन्द्र ठाकुर
04 अहाँ बिन जीब कोना - विजय
Side B
05 कोच लेटाई छनि - महेंद्र
06 हे गे हे गोरकी - श्याम
07 गामक सिवान पर - अक्कू
08 चउन्नी लेबै - शंख प्रिया
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Side A
01 जाई छी विदेश - चंद्रमणि
02 कने बाजू ने - राम चेतन्य धीरज
03 ई जुनी पुछू - जगदीश चन्द्र ठाकुर
04 अहाँ बिन जीब कोना - विजय
Side B
05 कोच लेटाई छनि - महेंद्र
06 हे गे हे गोरकी - श्याम
07 गामक सिवान पर - अक्कू
08 चउन्नी लेबै - शंख प्रिया
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